अरे, आज मैं तुमको कुछ बताने वाली हूँ, हाँ वही, मोंटे कार्लो जैसी पिक्चरें। कुछ पिक्चरें देखीं मैंने, बड़ी अच्छी लगीं, तो सोचा तुमको भी बताऊँ।
एक तो वो पिक्चर है ना, जिसमें वो तीन छोरीयां कहीं बाहर घूमने जाती हैं, और फिर बड़ी मौज मस्ती करती हैं। हाँ, वही मोंटे कार्लो वाली। उसी जैसी और भी पिक्चरें हैं, जिनमें लड़कियां बाहर घूमने जाती हैं, और बड़ी मौज करती हैं।
- एक पिक्चर है, जिसमें एक छोरी, वो बड़ी अमीर घर की है, वो कहीं घूमने जाती है, और फिर उसको एक लड़का मिल जाता है, बड़ा सीधा-सादा। फिर दोनों में प्यार हो जाता है। ये पिक्चर भी उसी मोंटे कार्लो जैसी है।
- एक और पिक्चर है, जिसमें चार छोरीयां हैं, वो सब दोस्त हैं, वो सब कहीं घूमने जाती हैं, और फिर वहाँ उनको बड़े अजब-गजब लोग मिलते हैं। ये पिक्चर भी देखने लायक है, बड़ी हँसी आती है।
- एक और है, जिसमें एक छोरी, वो बड़ी दुखी रहती है, फिर वो कहीं बाहर घूमने जाती है, और वहाँ उसको एक लड़का मिलता है, और फिर उसकी ज़िंदगी बदल जाती है। ये भी अच्छी पिक्चर है, मन को छू जाती है।
और सुनो, वो स्त्री 2 वाली पिक्चर भी आने वाली है, उसमें भी वही सब होगा, भूत-प्रेत वाला। और एक है खेल खेल में, वो भी अच्छी होगी, खेलने-कूदने वाली। और एक है वेदा, उसमें भी मार-धाड़ होगी, सुनने में आया है।

और वो एक पिक्चर आई थी ना, लापता, वो भी बड़ी अच्छी थी। उसको तो ऑस्कर में भी भेजने की बात चल रही है, 2025 में। और 2025 में तो शाहरुख खान, सलमान खान, और सनी देओल की भी पिक्चरें आने वाली हैं, बड़ी धूम मचेगी।
और वो जो आजकल फोन में पिक्चरें देखते हैं ना, नेटफ्लिक्स पे, उसमें भी आजकल बड़ी अच्छी-अच्छी पिक्चरें आ रही हैं। टॉप 10 पिक्चरें बताते हैं, जो सबसे ज़्यादा देखी जा रही हैं। तुम भी देखना, बड़ी मज़ेदार होती हैं।
और वो एक आईएमडीबी है ना, वो भी बताता है कि कौन सी पिक्चर सबसे अच्छी है। उसमें एक पिक्चर है, 12वीं फेल, वो पहले नंबर पे है। और आमिर खान की भी तीन पिक्चरें हैं उसमें।
और वो मोंटे कार्लो, वो तो कपड़े भी बनाते हैं, बड़े महँगे-महँगे। 1984 से बना रहे हैं, ओसवाल ऊनी मिल वाले। लुधियाना में है, नाहर ग्रुप वालों का है। मैंने तो कभी पहने नहीं, इतने पैसे कहाँ से लाऊँगी। पर देखती हूँ, लोग बड़े शौक़ से पहनते हैं।
ये जो मोंटे कार्लो जैसी पिक्चरें होती हैं ना, इनमें यही सब दिखाते हैं, कि कैसे ज़िंदगी में मुश्किलें आती हैं, फिर सब ठीक हो जाता है। और कैसे दोस्ती-यारी, प्यार-मोहब्बत, ये सब ज़िंदगी में कितना ज़रूरी है। और कैसे घूमना-फिरना भी ज़रूरी है, मन हल्का हो जाता है।
जैसे वो एक पिक्चर है ना, उसमें वो एक वकील है, वो मेक्सिको में रहता है, उसको एक बड़ा अजीब सा काम मिलता है। उसको एक बड़े बदमाश की मदद करनी पड़ती है। अब क्या करेगा बेचारा, फँस गया तो करना ही पड़ेगा। ये भी मोंटे कार्लो जैसी तो नहीं है, पर देखने लायक है।

बस, यही सब बताना था तुमको। अब तुम भी जाओ, और देखो ये सब पिक्चरें, मोंटे कार्लो जैसी, और भी बहुत सारी। तुम्हारा भी मन बहल जाएगा। और हाँ, वो कपड़े वाली बात मत भूलना, मोंटे कार्लो, बड़े महँगे कपड़े बनाते हैं वो।
चलो, अब मैं चलती हूँ, मेरा तो काम हो गया। तुम अपना देखो।