अरे, ई ब्लैक बुल एक्स एक्स एक्स रम क्या चीज़ है रे? आज ई सब लौंडे लोग इसी के बारे में बतिया रहे थे। मेरे को तो कुछ समझ नहीं आया। ई दारू है की क्या है?
सुना है ई बड़ी कड़क दारू है। ई सब तो जवान लड़कों का चोंचला है। हमरे ज़माने में तो बस देसी ठर्रा चलता था। दो घूंट पियो और मस्त हो जाओ। ई सब ब्लैक बुल और पता नहीं क्या क्या, ई सब तो पैसे की बर्बादी है।
पर आजकल के लौंडे कहाँ सुनते हैं किसी की। उनको तो बस ई फैंसी दारू चाहिए। ई ब्लैक बुल, रेड बुल, वाइट बुल, न जाने कौन कौन से बुल आ गए हैं बाज़ार में। अरे, ई सब नाम भी कैसे कैसे हैं! सुनते ही हंसी आ जाती है।

मेरे को तो लगता है ई सब बस दिखावा है। दारू तो दारू होती है, चाहे काली हो या सफ़ेद। नशा तो सब में बराबर ही होता है। फिर ई सब इतना ताम झाम का क्या मतलब?
और ई सब लौंडे कहते हैं की ई ब्लैक बुल पी के बड़ा मज़ा आता है। पता नहीं क्या मज़ा आता होगा इनको? मैंने तो कभी पी नहीं। और सच कहूँ तो, पीने का मन भी नहीं है। मेरे को तो अपनी देसी दारू ही अच्छी लगती है।
पर एक बात है, ई ब्लैक बुल वाली दारू बड़ी महंगी आती है। ई सब लौंडे कैसे खरीद लेते हैं इसको, मेरे को तो समझ नहीं आता। लगता है बाप के पैसे उड़ा रहे हैं।
- ई ब्लैक बुल रम बड़ी ताकत वाली है रे!
- एक घूंट में ही नशा चढ़ जाता है।
- पर ई सब हम गरीबों के बस की बात नहीं।
- ई सब तो अमीरों के चोंचले हैं।
मैंने सुना है ई ब्लैक बुल दारू पीने से बड़ी ताकत आती है। तभी तो ई सब लौंडे इसको इतना पसंद करते हैं। पर मेरे को तो लगता है ई सब बस कहने की बातें हैं। असली ताकत तो रोटी दाल खाने से आती है, दारू पीने से नहीं।
कुछ लोग कहते हैं कि ई ब्लैक बुल एक्स एक्स एक्स रम को किसी चीज़ के साथ नहीं पीना चाहिए। इसको तो बस ऐसे ही पीना चाहिए। पर मेरे को तो लगता है की बिना कुछ खाए पिए इतनी कड़क दारू कैसे पी जा सकती है? पेट में जलन नहीं होगी क्या?
और ई सब लौंडे जो इसके साथ पता नहीं क्या क्या मिला के पीते हैं। कोई सोडा मिलाता है, कोई कोल्ड ड्रिंक। अरे, दारू में ई सब क्या मिलाना? दारू तो दारू की तरह पीनी चाहिए।

पर आजकल के ज़माने में किसको समझाएं? सब अपनी अपनी मर्ज़ी के मालिक हैं। जिसको जो अच्छा लगता है, वो वही करता है।
मैंने तो ई भी सुना है कि ई ब्लैक बुल दारू पीने से मर्दानगी बढ़ती है। अब ई बात में कितनी सच्चाई है, ई तो भगवान ही जाने। पर ई सब लौंडे तो इसी चक्कर में इसको पीते रहते हैं।
मेरे को तो हंसी आती है ई सब सुन के। अरे, मर्दानगी दारू पीने से नहीं, अच्छे खान पान और कसरत करने से बढ़ती है। ई सब तो बस मन का वहम है।
पर चलो, जिसको जो करना है करे। हमें क्या? हम तो बस यही कहेंगे कि दारू कम ही पीनी चाहिए। चाहे वो ब्लैक बुल हो या कोई और बुल। ज्यादा दारू पीना सेहत के लिए अच्छा नहीं होता।
ई सब बातें तो ठीक हैं, पर ई ब्लैक बुल एक्स एक्स एक्स रम का नाम सुन के मेरे को तो कुछ और ही ख्याल आता है। ई सब जवान लड़के लड़कियों के चक्कर भी बड़े अजीब होते हैं। पता नहीं ई दारू पी के क्या क्या करते होंगे। भगवान ही मालिक है इनका।
खैर, छोड़ो ई सब बातें। हमें क्या लेना देना इन सब से। हम तो बस इतना जानते हैं कि दारू बुरी चीज़ है। इससे दूर ही रहना चाहिए। और ई ब्लैक बुल, रेड बुल, ई सब तो और भी खतरनाक हैं। इन सब से तो कोसों दूर रहना चाहिए।

बस, यही कहना था। अब तुम लोग जानो तुम्हारा काम जाने। मेरे को तो बस यही चिंता है कि ई सब लौंडे कहीं ई ब्लैक बुल के चक्कर में बर्बाद न हो जाएं। भगवान इनका भला करे।